मंगलवार, 11 फ़रवरी 2014

कुछ भेद नही है ...

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कुछ भेद नही है जीवन में
इस जीवन के हर छण में
सुरज चाँद ये तारे सितारे
जीवन दर्शन कण कण में
कुछ भेद नही है ...
जब तक साँस साथ हमारे
उम्मीद तभी तक बाकी है
संघर्ष तभी तक बाकी है
हर मानव की किस्मत में
कुछ भेद नही है ...
ना घबरा हवा के झोंको से
खोल रास्ते एक ठोकर से
बदलो के आ जाने भर से
नही हारा सूरज दुनियाँ में
कुछ भेद नही है ...
ताल तल्लईया जैसा गैहरा
जीवन दर्पण ठहरा ठहरा
मोह माया के झुठे बन्धन
बांच ले खुद को अंतर्मन में
कुछ भेद नही है ...
शुभदिनसुन्दरहो
#सारस्वत
12022014

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