गुरुवार, 11 सितंबर 2014

आओ दिलों के बीच से दीवारें गिरायेंगे

#
आओ दिलों के बीच से दीवारें गिरायेंगे
आओ आज फांसलों के फैंसले मिटायेंगे
#
मुस्कुराकर मुस्कराहट का स्वागत करो
मुरझाये हुए रिश्ते फिरसे तर हो जायेंगे
आओ दिलों के बीच से  ...
मरते हुए रिश्तों के लिए कभी रो कर देखो
घायल हुए रिश्तों के भी जख्म भर जायेंगे
आओ दिलों के बीच से  ...
मुश्किलों का डट कर मुकाबला किया करो
बिगड़े हुए हालात हौसलों से सुधर जायेंगे
आओ दिलों के बीच से  ...
गफलती से कैहदो दूर होजाओ नजरों से
खुशियों के भाग खुद बखुद जाग जायेंगे
आओ दिलों के बीच से  ...
मायूसियों से हमारा तुम्हारा क्या वास्ता
लगाकर गले ख्वाईश को सबको जगायेंगे
आओ दिलों के बीच से  ...
#सारस्वत
11092014

कोई टिप्पणी नहीं:

एक टिप्पणी भेजें